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लड़कपन में मैं बुरी संगत में रहकर बिगड़ गया था, लड़कियों की नंगी तस्वीरें देखना.. गन्दी बातें करना.. टॉकीज़ में एडल्ट फ़िल्म देखना.. ये सब किया करता था। सेक्स को और लड़कियों के जिस्म को जानने की बहुत जिज्ञासा रहती थी, पर मैं बड़ा शर्मीला था, लड़कियों से बात भी नहीं कर पाता था। इसलिए मेरी हवस मेरे अन्दर ही अन्दर सुलगती रहती थी।
फिर एक दिन मेरी हवस को एक रास्ता मिला। मेरी छोटी बहन भूमिका, मुझमें और उसमें बस एक साल का अंतर था। हम भाई बहन लगभग बराबर उम्र के थे, साथ में खेलना, लड़ना झगड़ना चलता रहता था। हम साथ-साथ जवानी में कदम रख रहे थे।
लड़कियाँ लड़कों से जल्दी जवान होती हैं इसलिए भूमिका का भी शरीर बदलने लगा था, उसके सीने में उभार आने लगे थे, उसके चूतड़ भर गए थे.. उसकी बगल में बाल आने लगे थे। भूमिका अब काफी कामुक दिखने लगी थी।
उसका सुन्दर गोरा चेहरा और गदराया शरीर देखकर अच्छे अच्छों का लंड खड़ा हो जाता था। मेरे दोस्त भी मेरे घर जानबूझ कर आते थे ताकि वो मेरी बहन को आँखों से चोद सकें।
पर किस्मत वाला मैं था.. जिसकी बहन सनी लियोनी से कम नहीं थी। मैं हर रोज़ भूमिका का शरीर निहारता था। जब वो सोती थी.. तो मन करता था उसके सीने के उभारों को अपने हाथ में ले लूँ। पर डर लगता था कि वो किसी को बता न दे।
मैं अक्सर आँख-मिचौली खेलते वक्त उसकी आँखों में पट्टी बांधते समय अपना लंड उसकी गांड में टिका देता था.. वो कुछ नहीं बोलती थी।
हम लोग एक ही बिस्तर पर सोते थे। धीरे-धीरे मेरी हिम्मत बढ़ने लगी, एक रात जब वो सो रही थी तो मैंने उसकी टी-शर्ट के अन्दर से उसके पेट पर हाथ रखा। फिर हाथ को धीरे-धीरे ऊपर उसकी छाती की ओर सरकाने लगा।
मेरा दिल जोर से धड़क रहा था, धीरे से मेरा हाथ उसके उभार की ओर चलने लगा। मुझे ऐसा लगा मुझे मानो जन्नत मिल गई हो। फिर जैसे ही मेरा हाथ उसके निप्पल पर पड़ा.. भूमिका ने मेरा हाथ पकड़ लिया। मैंने नींद में बड़बड़ाने का नाटक किया और सो गया।
सुबह उसने कहा- कल तूने नींद में मेरे पेट पर हाथ रख दिया था। मैंने कहा- मुझे याद नहीं है।
अगली रात मैंने उसकी ऑरेंज टी-शर्ट के ऊपर से उसके दूध पर हाथ रखा और हल्के से दबाने लगा। उसकी वो टी-शर्ट टाइट थी.. इसलिए हाथ अन्दर नहीं घुसा पाया।
अगले दिन मैंने उसकी ये वाली टी-शर्ट छुपा दी और उसके नाईट वियर की शर्ट का चेस्ट बटन तोड़ दिया.. और रात का इंतज़ार करने लगा। भूमिका ने वही नाईट शर्ट पहना.. और नीचे स्लैक्स।
जब हम सोये.. तो फिर मैंने उसकी नाईट शर्ट के टूटे बटन वाले हिस्से से हाथ घुसाया और उसकी ब्रा के अन्दर से उसके दूध पर हाथ रख दिया। आहा.. क्या एहसास था वो.. उभरा हुआ वो सीना, जैसे कोई रुई का गोला हो.. और निप्पल की जगह एकदम मखमली थी।
मैं हल्के-हल्के से उसकी चूची को दबाकर, सहलाकर मजे लेता रहा। मैंने मोबाइल की लाइट जलाकर देखा.. भूमिका का दूध एकदम गोल सफ़ेद था। उसके निप्पल अभी ढंग से निकले नहीं थे.. पर रंग हल्का गुलाबी था। मेरा मन हुआ कि अपनी जीभ लगा दूँ.. पर मैंने कण्ट्रोल किया।
फिर अचानक भूमिका ने मेरी तरफ पीठ करके करवट ले ली। अब मैंने अपना हाथ उसके स्लैक्स वाले लोअर पर रखा और ऊपर से ही उसकी जांघ और गांड पर हाथ फेरने लगा। सच में यार मेरी बहन की क्या मस्त मांसल जांघें थीं।
फिर मैंने अपना लंड निकाल कर उसकी दोनों जांघों के बीच गांड से टिकाकर रख दिया और अपना एक पैर उसके ऊपर कर दिया। इस तरह से सोने से पहले मैंने वापस अपना बॉक्सर चढ़ा लिया।
अब हर रात यही होने लगा.. मैं भूमिका के दूध दबाता.. उसकी गांड में लंड रख देता.. कभी उसकी चड्डी के अन्दर हाथ डालकर उसकी गांड को सहला देता। पर मैं अभी तक उसकी चूत को नहीं छू पाया था.. ना देख पाया था।
भूमिका भी कुछ बोलती नहीं थी.. पर वो चुप रहकर मज़े लेती थी।
हम लोग इस बारे में दिन में कभी बोल ही नहीं पाते थे। अगर वो बात करती तो भी अच्छा होता और मैं भूमिका की चूत की सील तोड़ पाता..पर वो इस बारे में बात ही नहीं करती थी।
खैर.. मेरी अब चूत देखने की जिज्ञासा शांत नहीं हो रही थी।
एक रात 2 बजे उठकर मैंने कमरे की लाइट जलाई। भूमिका गहरी नींद में सो रही थी.. उसने लॉन्ग स्कर्ट पहना हुआ था। मैंने धीरे-धीरे उसके स्कर्ट को उसके पैरों से जांघों तक ऊपर किया, फिर कमर तक कर दिया।
भूमिका ने फूल के प्रिंट वाली चड्डी पहनी हुई थी. जिसे मैंने कई बार अकेले में सूँघा था। मैंने उसकी चड्डी की उसके जांघ वाले सिरे से एक उंगली से हटाना चालू किया। पहले उसकी जांघ के जोड़ से ही हल्के-हल्के बाल दिखना शुरू हुए। फिर त्वचा का रंग थोड़ा गहराता चला गया।
मैंने अपनी आँख बंद कर ली और एक झटके में चड्डी को दूसरी तरफ कर दिया। मैंने धीरे-धीरे आँख खोला.. और देखा कि भूमिका की गहरी गुलाबी रंग की चूत दिखने लगी थी। उसकी चूत मखमल जैसी चिकनी थी। चूत हल्के हल्के बाल लिए हुए थी। चूत के चिपके हुए होंठ.. बीच में दरार.. एकदम सील पैक छेद।
मुझे तो भरोसा ही नहीं हो रहा था कि आज मैंने भूमिका की चूत देख ली है। उसकी वो चूत देख ली, जिसे चाटने और चोदने का सपना पूरे मोहल्ले को है। मैं धीरे से उसकी चड्डी को वापस अपनी जगह पर लाया और भूमिका की मखमली चूत को ढककर मैं मुठ मारकर सो गया।
अब बस मैं मौका ढूँढने लगा कि कब भूमिका किसी दिन मूड में हो तो उससे बात करूँ। मैंने रात का खेल बंद कर दिया और भूमिका की सीलपैक चूत को अपना टारगेट बना लिया।
अब मैं भूमिका को उत्तेजित करने के प्लान बनाने लगा। उसके सामने जानबूझकर टाइटैनिक मूवी के सेक्स सीन टीवी पर लगाकर देखता, अपने बॉक्सर में खड़ा लंड लेकर उसके सामने घूमता।
धीरे-धीरे भूमिका पर असर होने लगा.. उसके बात करने का तरीका बदल गया। वो मुझसे ज्यादा प्यार से बात करने लगी। अक्सर मेरे बॉक्सर में मेरे खड़े लंड पर उसकी नज़र जाने लगी।
मुझे पता चल गया कि इसकी चूत गर्म हो गई है.. मार दो लौड़ा! अब बस घर खाली रहने का इंतज़ार था.. क्योंकि दोस्त के रूम में ले जाऊँगा तो वे लोग भी हाथ साफ़ करेंगे.. और मैं अपनी बहन के गदराए हुए शरीर को किसी के साथ बांटना नहीं चाहता था। वो भी जब सील तोड़ने वाली बात हो।
खैर.. एक दिन ऐसा मिला, जब परिवार वाले एक शादी में जाने लगे। हमारी कॉलोनी सेफ थी और सिक्यूरिटी भी अच्छी थी.. इसलिए घर वाले हम लोगों को छोड़कर अक्सर चले जाते थे।
इस बार वो एक दिन के लिए दूसरे शहर जा रहे थे। अब मेरे पास अपना सपना पूरा करने का काफी समय था।
घरवालों को सी-ऑफ करके मैं और भूमिका वापस आए। मैंने टीवी में टाइटैनिक का वही सेक्स सीन लगाकर छोड़ दिया। भूमिका टीवी के सामने आकर सोफे पर बैठ गई, मैं दूसरे कमरे में जाकर वहाँ की खिड़की से भूमिका के एक्सप्रेशंस चैक कर रहा था।
भूमिका उस सेक्स सीन को आखें फाड़कर देख रही थी। उसने अपने होंठ चबाने शुरू कर दिए.. और एक हाथ अपनी चड्डी के ऊपर से सहलाने लगी। मैंने सोचा यही मौका है, मैं टीवी वाले कमरे में गया, तो उसने हड़बड़ाकर अपना हाथ चड्डी से हटाकर ऊपर कर दिया।
मैंने गुस्से में कहा- क्यों क्या कर रही थी अभी? उसने कहा- कुछ नहीं। मैंने कहा- झूठ मत बोल.. तू मास्टरबेट कर रही थी ना? वो बोली- हाँ तो..! कर रही थी तो क्या..! तू भी तो कर रहा था उस दिन..
मैं अवाक् रह गया और कहा- किस दिन? उसने कहा- उसी दिन जब तू रात को मेरी पुसी देखने के बाद मास्टरबेट कर रहा था। मैंने कहा- अच्छा तो तू जाग रही थी उस समय? उसने कहा- हाँ तब भी जाग रही थी और उसके पहले भी जब कई रातों को तू मेरे दूध दबाया करता था तब भी सब देखती थी।
‘पर तू कुछ बोली क्यों नहीं?’ ‘क्या बोलती कि भाई दूध दबा.. मज़ा आ रहा है? भाई मेरी पुसी लिक कर?’
‘चल छोड़ भूमिका ये सब.. देख मेरा बहुत दिनों से सपना है कि मैं तुझे नंगी देखूँ। आज मौका मिला है घर में भी कोई नहीं है। चल ना.. आज हम एक-दूसरे की हवस मिटाते हैं।’ भूमिका ने कहा- चल रहने दे.. मेरे पीछे बहुत लोग पड़े हैं।
‘पर सब तेरे भाई तो नहीं भूमि.. इतना नहीं करेगी अपने भाई के लिए..?’ ‘अच्छा अच्छा रो मत.. वैसे भी बाहर किसी को दूंगी तो बदनामी होगी.. बात फ़ैल जाएगी..’ ‘तो फिर चल भूमि.. बेडरूम में चलें?’
हम दोनों बेडरूम में आ गए।
वो कुछ शर्म कर रही थी तो मैंने भूमिका की आँख में पट्टी बाँधी और उसे लेटा दिया। बिस्तर पर उसके हाथ फैलाए.. मैं उसके ऊपर चढ़ा और उसके गले में किस करने लगा। भूमिका सिहरने लगी।
फिर मैंने उसके कोमल गुलाबी होंठों को चूसा, उसने भी मेरा साथ दिया और हम स्मूच करने लगे। करीब 15 मिनट के स्मूच के बाद मैं उसके गले को चूमते हुए उसकी छाती पर उसकी शर्ट के बटन खोलने लगा।
उसकी शर्ट को मैंने उसके बाँह तक फैला दिया। भूमि ने ब्लैक ब्रा पहनी हुई थी। उसके गोल दूध उस छोटी सी ब्रा में समां ही नहीं रहे थे, उसकी चूचियां ब्रा से बाहर आने को बेचैन थीं। यह हिंदी चुदाई की कहानी आप अन्तर्वासना सेक्स स्टोरीज डॉट कॉम पर पढ़ रहे हैं!
मैंने एक साइड के ब्रा के कप को एक हाथ से नीचे किया और भूमि के दायें दूध के निप्पल को अपने होंठों से चूसने लगा। भूमि गहरी साँसें लेने लगी।
दूसरे हाथ से भी दूध को मसलने लगा और निप्पल को उमेठने लगा। भूमि कराहते हुए बोली- नई.. उम्म्ह… अहह… हय… याह… न करो.. भाई… मैंने उसके दोनों दूध को चाटकर और निप्पल को चूसकर छोड़ दिया।
अब मैं धीरे-धीरे छाती से नीचे नाभि तक आया, नाभि के गड्ढे में जीभ डालकर.. उसके और नीचे की ओर बढ़ा। भूमिका की स्कर्ट उतारकर मैंने फेंक दी.. और दांतों से उसकी काली चड्डी उतारकर जांघों तक ले आया।
अब मेरे और मेरी बहन की कसी हुई चूत के बीच कोई नहीं था। मैंने भूमिका की गुलाबी चूत के होंठों को अपनी जीभ से पहले अलग किया। अब दरार साफ़ दिख रही थी। फिर उसकी चूत पर एक जोर से पप्पी ली। भूमि के शरीर में जैसे करंट दौड़ गया.. वो सिहरने लगी, उसकी कामुक आवाजें निकलने लगीं।
मैंने जीभ से अपनी बहन की चूत के क्लाइटोरिस को चाटना चालू किया.. और एक उंगली चूत में डालने लगा पर उसकी चूत बहुत टाइट थी।
मैं अगले कुछ मिनट तक भूमि की चूत चाटता रहा। फिर बार-बार फड़कने के साथ भूमि की चूत से सफ़ेद लिक्विड निकल पड़ा। अब भूमि निढाल हो गई.. उसे चरम मिल गया था।
अब उसकी बारी थी। मैंने अपनी शर्ट उतार फेंकी.. और बस बॉक्सर में आ गया। भूमि मेरे बॉक्सर के अन्दर खड़े लंड को हाथ से पकड़कर सहलाने लगी। बेचारी ने पहली बार लंड पकड़ा था।
उसने अभी मेरा बॉक्सर उतारा ही था कि मेरा लंड तनतना कर उसके सामने आ गया। भूमि एकटक मेरे लंड को देखने लगी। फिर उसने मेरे लंड की त्वचा को पीछे किया और मेरे सुपाड़े को अपने नाज़ुक होंठों से किस किया। उसने एक बार मेरे लंड को अपने मुँह में लेकर लंड को गीला कर दिया। उसको लंड का स्वाद अच्छा लगा और वो मेरा लंड बार-बार चूसने लगी।
आह.. क्या चूसती है मेरी बहन! ‘इतना मस्त चूसना कहाँ से सीखा तूने?’ उसने लंड चूसते हुए कहा- सनी लियोनी से.. मैंने कहा- तू भी कोई कम है क्या सनी लियोनी से.. भूमि आह्ह.. मजा आ रहा है।
वो हँसकर और तेज़ी से चूसने लगी। थोड़ी ही देर में मेरा लंड फड़कने लगा। मैंने भूमि को दूर किया और मेरे लंड ने सारा लावा उसके चेहरे पर उड़ेल दिया।
भूमि ने थोड़ा चाटकर भी देखा.. उसका मुँह पोंछने के बाद.. हम एक-दूसरे से नंगे लिपटकर चुम्मा-चाटी करते रहे।
कुछ देर बाद मैंने उसकी गदरीली गांड को मसला.. उसकी गांड के छेद में उंगली की.. और चूत को वापस धीरे से गर्म करने लगा। अब भूमिका फिर से जोश में आने लगी, उसके दूध तन गए और निप्पल खड़े हो गए.. चूत भी उभर गई।
मैंने उसके दोनों पैर अपने कंधे पर रख लिए। अब उसकी चूत का छेद साफ़ दिख रहा था। मैंने उसमें अपना लंड फेरा.. भूमि फिर से सिहरने लगी। मैंने उसकी चूत की देहलीज में अपना लंड टिकाया.. तो वो थरथरा गई। मैंने कहा- मत घबरा पगली.. भाई हूँ तेरा.. ज्यादा दर्द नहीं दूंगा। भूमि ने आँखें बंद कर लीं और चादर को जकड़ लिया।
मैंने उसकी चूत में थूक कर चिकनाई की और ठीक उसकी चूत के छेद पर अपना लंड टिका दिया। मैं धीरे से लंड को चूत के अन्दर डालने लगा.. पर मेरी बहन की चूत बड़ी टाइट थी। मैंने एक बार फिर से थूक लगा कर लंड को तेज़ी से भूमि की चूत में घुसा दिया। उसकी एक तेज़ चीख के साथ मेरा लंड उसकी चूत में समां गया.. और चूत से खून भी रिसने लगा। मैंने अपनी बहन की सील तोड़ दी। उसकी आँखों में ख़ुशी और दर्द के आंसू थे। मैंने कहा- रुक, असली मज़ा तो अब आने वाला है। यह कहकर मैं धीरे-धीरे अपने लंड को भूमि की चूत में रगड़ने लगा।
आह… क्या गर्मी थी उसकी चूत की.. अन्दर जैसे गर्म रुई भरी हो। भूमि कराहने लगी- भाई..ई.. धीरे-धीरे.. डाल..लो..
कुछ पल बाद मैं उसकी चूत को और तेज़ी से चोदने लगा, उसकी आवाज़ काँपने लगी.. पूरा बिस्तर हिलने लगा। भूमि मजे में आ गई और जोर से चिल्लाने लगी- फक मी भाई.. फास्ट आह्ह..
वो गर्म होकर झड़ गई। उसकी गर्मी से मैं भी पिघल गया, एक झटके के साथ ही मैंने अपना सारा वीर्य अपनी बहन की चूत में उड़ेल दिया.. जो उसकी चूत से रिसकर बाहर आने लगा।
आखिर मैंने अपनी बहन को चोदने का सपना पूरा किया.. पर ये तो एक शुरुआत थी। अभी तो उसकी एनाल, थ्री-सम, गैंग-बैंग होना बाकी है.. क्योंकि मेरी बहन sunny leone सनी लियोनी है।
मेरी बहन है सनी लियोनी से भी ज्यादा सेक्सी चुदक्कड़-2
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