This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: storyrytr@gmail.com. Starting price: $2,000
हैलो दोस्तो, मेरा नाम उदय है, मैं गुजरात का रहने वाला हूँ। मैं अन्तर्वासना का बड़ा फैन हूँ, प्रेम गुरु, फ़ुलवा, इमरान, उषा मस्तानी, ज़ूजाजी, सन्नी, जवाहर, अरुण और सभी लोगों की कहानियाँ पढ़ीं हैं और मैं अपनी पहली कहानी अन्तर्वासना पर प्रकाशित होता देखना चाहता हूँ, इसलिए आप सबकी तव्वजो भी चाहता हूँ।
वैसे मैं लड़कियों को सिर्फ़ सेक्स की नज़र से कभी नहीं देखता हूँ। मैं हर लड़की में अपने लिए प्यार ढूँढना चाहता हूँ, चाहे वो काली और बदसूरत ही क्यूँ ना हो। मैं प्यार का भूखा हूँ और प्यार को लेकर ही कुदरत ने मेरे साथ कुछ अजीब सा किया है।
मैं अभी आई-टी से इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहा हूँ, मेरी उम्र 21 साल है। बीच में मैंने 2 साल पढ़ाई छोड़ दी थी, तो फ्री था और कुछ समय के लिए मुंबई में था। वहाँ मैं अकेला रहता था। मैं जहाँ रहता था, वहाँ भारतीय नौ-सेना के कई अधिकारी रहते थे। उसमे एक लेडी ऑफीसर रहती थी, वो विधवा थी। उसका नाम प्रिया था। वो 28 साल की थी, और शारीरिक रूप से एकदम फिट थी। वो नौ-सेना में बड़े स्थान पर पदस्थ थी। मैं उसके घर के पास ही रहता था।
एक दिन हम दोनों सार्वजनिक पार्क में घूम रहे थे। तभी उसने मुझे बैठने के लिए बुलाया। वो वहाँ रोज बैठती थी, तो वहाँ से हमारी बातचीत शुरू हुई। उसके बाद से हम रोज उस पार्क में वहीं बैठने लगे थे। कुछ दिन बाद मैं उसके घर पर भी जाने लगा था। एक दिन वो बात करते-करते रोने लगी।
मैं बोला- क्या हुआ यार? वो बोली- यार मैं अकेली हो गई हूँ, मेरा कोई दोस्त नहीं है। मुझे तुम अच्छे लगे इसलिए तुमसे दोस्ती की है। मुझसे सब अलग रहते हैं और मेरे खिलाफ कुछ ना कुछ कहते हैं। मैं बोला- तुम टेंशन मत लो, मैं तुम्हारे साथ हूँ।
वो मुझसे लिपट कर रोने लग गई और उसने मुझसे ‘आई लव यू’ कह दिया। मैं थोड़ी देर के लिए ‘सन्न’ रह गया। क्या करूँ, कुछ समझ नहीं पाया कि क्या करूँ..! मैंने उसे समझाया- देखो पियू, मैं तुम्हें दोस्त समझता हूँ, मैंने तुम्हारे बारे में कभी खराब नहीं सोचा.. फिर भी तुम एक बार सोच लो।
उसने कहा- मैंने सोच कर ही कहा है। तो मैंने भी उससे ‘आई लव यू’ कह दिया, तो वो मुझसे लिपट गई। बाद में हम एक-दूसरे को बेतहाशा चूमने लगे लेकिन हम उससे आगे नहीं बढ़े और एक-दूसरे से लिपट कर सो गए।
सुबह वो नहा कर आई और मुझे उठाने लगी। तो मैंने उसे खींच कर ‘आई लव यू’ कहा, तो वो फिर से रोने लगी। मैंने उसे चुप कराया और कहा- तुम आज के बाद कभी नहीं रोओगी। एक दिन उसने मुझसे कहा- मैं श्रीलंका जा रही हूँ और चाहती हूँ कि तुम भी मेरे साथ चलो। तो मैंने पहले उसे मना किया लेकिन उसके ज़ोर देने पर मैं मान गया।
उसने ऑफिस में मुझको अपना मंगेतर बताया, मैं उसको देखता रह गया। फिर हम श्रीलंका के लिए बोट से चले गए। वहाँ हम एक छोटे से आईलैंड में बने हुए होटल पर रखा गया। काम की वजह से उसे तेज बुखार और ठंड लग गई। ठंड उतर ही नहीं रही थी, वो बेसुध हो कर पड़ी थी। मेरा दिमाग़ काम नहीं कर रहा था कि मैं क्या करूँ। फिर मैंने उसकी टी-शर्ट उतारी और पैन्ट उतारी। वो अब सिर्फ ब्रा और रेड पैन्टी में थी।
उसे इस हालत में देख कर मुझे भी कुछ होने लगा, लेकिन मैंने अपने आप को संभाला और उसको गरम पानी का सेक दिया। लेकिन उससे कुछ फर्क नहीं हुआ। अब मैंने अपने कपड़े उतारे, फिर उसके ब्रा और पैन्टी उतारे और अब मैंने उसके दोनो स्तनों को बारी-बारी से चूसना चालू किया और उसकी योनि को सहलाने लगा। मैंने देखा वो हिलने लगी थी।
मैं अब उसकी योनि का मर्दन ज़ोर-ज़ोर से करने लगा। मैंने उसके नीचे एक तकिया रखा और उसके पैर ऊपर किए और अपना लिंग योनि पर रख कर एक धक्का मारा, लेकिन लिंग फिसल गया। दो-तीन बार कोशिश करने के बाद लिंग अन्दर प्रविष्ट हो गया।
यह कहानी आप अन्तर्वासना डॉट कॉम पर पढ़ रहे हैं ! अब मैंने धीरे-धीरे हिलना चालू किया। वो भी थोड़ा हिलने लगी, फिर मैंने अपनी गति बढ़ाई और देखा तो उसका पूरा बदन पसीने से भीगने लगा।
आधे घंटे की मशक्कत के बाद उसका काम-रस छूटा और फिर मेरा भी छूट गया। थोड़ी ही देर में वो बेहोशी से जाग गई और उसका बुखार और ठंड भी अब गायब हो चुके थे। उसने मेरी तरफ देखा, मैंने उसको चादर उढ़ा दी, उसकी ओर देखा तो उसकी आँख में आँसू थे। मैं उससे कुछ कहना चाहता था, तो उसने मेरे मुँह पर हाथ रख दिया और मुझसे लिपट गई।
उसके बाद हमने वहाँ खूब मस्ती की, हम पति-पत्नी की तरह घूमे, बाद में हम भारत आ गए। उसने अपना खुद का मकान ले लिया और हम वहाँ रिलेशनशिप में रहने लगे। एक-दूसरे को बेइन्तिहा प्यार करते थे, लेकिन हमारे प्यार में वासना नहीं थी।
एक दिन उसने मुझसे कहा कि वो मुझसे शादी करना चाहती है तो मैंने कहा- तुम मुझसे बड़ी हो और मैं तो कुछ करता भी नहीं हूँ..! उसने कहा- प्यार तो करते हो ना..! बस और क्या चाहिए..! माता-पिता से शादी करने की आज्ञा लेने के लिए मैं और प्रिया उसकी कार में गुजरात आ रहे थे।
वो कार चला रही थी, रात में सड़क पर काम चल रहा था, उसको दिखाई नहीं दिया और एक ट्रक के साथ हमारी गाड़ी टकरा गई। मैं साइड में गिर गया लेकिन वो दब गई। मेरे सिर और पैर में काफ़ी चोट आने के बावजूद मैंने उसको उठाया और एक टैक्सी ली। उसको घायल अवस्था में लेकर अस्पताल गया।
सुबह तक मेरे मम्मी-पापा भी आ गए थे। तभी अचानक पापा ने कहा- प्रिया अब इस दुनिया में नहीं है..! मैं खूब रोया..!
बाद में पापा ने मुझे जूनागढ़ पढ़ाई करने भेज दिया। मुझे आज भी लगता है कि प्रिया मेरे साथ ही है। लव यू प्रिया..!
मैं आज भी प्रिया के जैसे प्यार की तलाश में हूँ..! आपके विचारों का स्वागत है। [email protected] yahoo.com
This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: storyrytr@gmail.com. Starting price: $2,000