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आपने मेरी पिछली कहानी उमर ही ऐसी है ! में पढ़ा कि कैसे मैंने एक फ़्रेन्डशिप नेटवर्क के जरिये ज्योति नाम की लड़की से मजे किए।
असल में ज्योति नाम की कोई लड़की थी ही नहीं, मैंने यह नाम बदल कर लिखा था क्यूंकि यह एक पब्लिक वेबसाइट है तो किसी का नाम मैं उजागर नहीं करना चाहता था।
तो आज भी मेरे उसी ज्योति से मेरी फ्रेंडशिप है लेकिन सीक्रेट वाली, कॉलेज़ में कोई नहीं जानता कि कौन है राजीव और कौन है ज्योति !
अब मैं कुंवारा नहीं रहा, यह सब ज्योति मैम के चलते हुआ है !
मेरी पहली कहानी प्रकाशित होने के बाद मुझको बहुत सारे मेल मिले। आप सबको मेरी कहानी अच्छी लगी, उसके लिए धन्यवाद।
मैं एक मेल का उत्तर मैं यहाँ देना चाहता हूँ, ज्योति ने मुझे मजा दिया मेरा लण्ड चूस कर क्यूंकि उसको पता था कि मुझको यह बहुत अच्छा लगने वाला था, ज्योति को यह इतना अच्छा नहीं लगा, उसने मेरे लिए यह सब कुछ किया।
मैं आज भी जमशेदपुर में ही हूँ।
ज्योति ने मुझ को फ़ोन करके बुलाया तो था लेकिन बढ़ मैंने मना कर दिया क्यूंकि दो बार झड़ने के बाद लण्ड में उतनी पॉवर नहीं रह गई थी, तो 3-4 दिन बाद का कार्यक्रम रखने को बोला।
उसने कहा- अब हस्तमैथुन मत करना, हो सके तो दूध पीना !
और मैंने वही किया जो मुझको बोला गया था।
अब ज्योति ने मुझको फ़ोन करके बुलाया तो मैं ज्योति के पास मैं गया उसके कमरे में, आज कोई नहीं था उसके घर पर !
मैंने जाते ही उसको बाहों में लेने की कोशिश की लेकिन उसने अच्छे से करने नहीं दिया मुझ को !
ज्योति- देख लो, लास्ट टाइम मैंने आपका चूसा था, अब मुझको भी वही चाहिए !
राजीव- क्या चाहिए आपको??
ज्योति- अरे अभी तक बच्चे हो क्या तुम?
राजीव- नहीं ! अभी तो नहीं, सेकंड इयर चल रहा है मेरा ! ह्म्म ! पता चल रहा है मुझको कि आपको क्या चाहिए ! लेकिन अभी नहीं मिलने वाला आपको !
ज्योति- ऐसा क्यूँ?? अब मैंने क्या कर दिया जो मुझको नहीं मिलने वाला है??
राजीव- अरे आपने कुछ किया नहीं है, बस आज आप बहुत अच्छी दिख रही हो, तो मन कर रहा है आपको अच्छे से प्यार करने का लेकिन आप तो सीधे सीधे स्टार्ट करने की बात कर रही हो ! ऐसा थोड़े ना होता है…
ज्योति- कमीने, कुत्ते, साले ! लास्ट टाइम तेरे को मजा देने के चक्कर में मैंने कुछ करवाया नहीं तुझसे ! पता है ना? तो अब तो करने दे मुझको…
राजीव- ओके ज्योति जी ! अब ऐसा ही तो करना है, आपकी इच्छा पूरी करनी है लेकिन दरवाजे पर खड़े खड़े तो नहीं ना? बेडरूम में चलो प्लीज !
ज्योति- अरे मेरे बाप, चल ना बेडरूम में जल्दी से !
अब हम दोनों बेडरूम में आ चुके थे, मैंने पीछे से ज्योति के चूतड़ों पर हाथ रखा और हल्के से दबाया फिर एक जोर से चपत मारी, उसके चूतड़ बड़े मस्त थे !
ज्योति कुछ नहीं कर रही थी, बस चुपचाप खड़ी थी, अब मेरे हाथ उसके लोअर के अंनर जा रहे थे। ज्योति ने एक छोटी सी पैन्टी पहनी हुई थी, मेरे दोनों हाथ उसकी पैन्टी के अंदर थे, लोअर अभी तक खुला नहीं था, बस मैं उसकी गांड को जोर जोर से दबाए जा रहा था, जो शायद ज्योति को अच्छा लग रहा था क्यूंकि उसने कुछ बोला नहीं !
मैंने अपनी एक उंगली को उसकी गांड के छेद में डालने की कोशिश की तो उसने एक हल्की सी आवाज निकाली !
अब समय हो चुका था उसकी लोअर और पैन्टी को निकालने का, मैंने नीचे किया उसका लोअर तो एक बड़ी सी गांड अब ऊपर आजाद थी, बस एक पन्टी भर की और दूरी थी !
ज्योति- कुत्ते, क्यूँ तंग कर रहा है, बेड पे आ ना ! आजा यार !
राजीव- हाँ ठोड़ा रुको ना ! कपड़े तो निकालने दो आपके !
ज्योति- हाँ निकाल ना !
अब ज्योति बेड पे उलटी लेट गई थी, उसका लोअर नीचे था और उसकी पैन्टी भी, उसकी इंडियन हल्की काली गांड मेरे आँखों के सामने थी, मेरा बिल्कुल भी मन नहीं था उसको चाटने का लेकिन मुझको भी पता था यह ज्योति का भी कम नहीं था ब्लो जॉब देने का मुझको ! फिर उसने किया तो अब मेरा नंबर है !
मैंने उसके लोअर और पैन्टी को पूरा उतार दिया, बस अब एक टॉप और शायद उसकी ब्रा बची थी, और मैंने सारे कपड़े पहन रखे थे।
अब मैंने उसके कूल्हों पर एक जोर से मारा जो ज्योति को अच्छा लगा, अब ज्योति खुद ही बेड पे सीधी हो गई थी, उसने अपनी टाँगों को फ़ैलाया, एक हल्की काली फटी हुई चूत मेरे सामने थी, ना चाहते हुई भी मैंने उस पर अपना मुँह लगा लिया यह सोच कर कि अब मेरा नंबर है।
ज्योति की चूत बहुत गीली थी लेकिन मैं बस उसे चाट रहा था बिना कुछ बोले !
3-4 मिनट चाटने के बाद उसने लण्ड की तरफ इशारा किया, कुछ बोली नहीं वो, अब मैंने अपनी जीन्स को निकाला और चड्डी को भी, मेरा खुद का लण्ड थोड़ा गीला था, लेकिन बहुत सख्त था, मैंने धीरे से लंड को उसकी चूत में डाला, जो बहुत ही आराम से चला गया, बहुत ढीली थी थी उसकी चूत, लेकिन एकदम से टाइट हो गई उसकी चूत जैसे उसने खुद से की हो !
बहुत ही गर्म थी, लंड को अंदर बाहर करने से पता नहीं मुझ को क्या क्या हो रहा था, लेकिन ज्योति मुझको जोर जोर से करने के लिए बोल रही थी।
मुश्किल से तीन मिनट हुए थे कि बस एकदम से मेरी स्पीड फ़ास्ट हो गई और मेरा सारा पानी निकल गया और मैं ज्योति के ऊपर गिर गया।
15 मिनट के बाद मैं उठा उसके ऊपर से !
ज्योति- यार यह किया तूने? बिना कंडोम के कर दिया, अब क्या होगा?
राजीव- यार मुझको पता ही नहीं चला, मैं खुद भी कंडोम लेकर आया था लेकिन एकदम उस टाइम पे जो हुआ उसका पता नहीं चला मुझको !
ज्योति- चल ठीक है, मैं कुछ ले लूँगी जिससे कुछ होगा नहीं ! वैसे थंक्स ! मुझको बहुत अच्छा लगा राजीव !
राजीव- वाह ! चलो मैं भी कुछ नया सीख गया आज आपसे ! एक अच्छी सेक्स लाइफ मिल रही है आपसे मुझको, ज्योति जी !
ज्योति- हा.. हा.. हा… हाँ, सही है।
राजीव- चलो, मैं चलता हूँ, अब मेरे सेमस्टर एग्जाम हैं तो एग्जाम के बाद कुछ नया सोचते हैं।
ज्योति- चलो फिर ठीक है, मन लगा कर पढ़ाई करना, फिर मेरी चुदाई !
राजीव- क्यूँ नहीं ! जरूर होगी आपकी चुदाई, तो अब मैं चलता हूँ, बाय !
ज्योति- ओके बाय !
ऐसे हुई ज्योति की मुझसे चुदाई !
ज्योति के साथ मुझे और भी कुछ नई फ्रेंड्स मिली, कुछ ज्योति की फ्रेंड्स थी, और कुछ जीमेल पर मिले मुझको, लेकिन एक दो के साथ ही मेरा कुछ हो सका, क्यूंकि मैं जमशेदपुर का हूँ और स्टूडेंट हूँ तो दूर दूर नहीं जा सकता, लेकिन एक लड़की मिली थी 19 साल की। उसके लिए जरूर गया था।
लेकिन सबने यही बोला- सीक्रेट होना चाहिए सब कुछ ! किसी को कुछ पता नहीं चलना चाहिए।
तो मैंने सबको बताया कि मेरा असली नाम ही राजीव नहीं है तो किसी को क्या पता चलेगा, ना कभी आपको कि कौन हूँ मैं !
बस इतना सही है कि मैं जमशेदपुर का हूँ। मेरे पास एक अच्छी सेक्स लाइफ है और उसके साथ साथ अच्छे मार्क्स भी एग्जाम में ! बस अब जॉब मिलने वाली है !
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