This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: storyrytr@gmail.com. Starting price: $2,000
प्रेषक : अनुराग बिष्ट
मेरा नाम अनुराग है और मैं आपको बताना चाहता हूँ कि मेरे यौन-जीवन की शुरुआत कैसे हुई।
मेरे घर में मेरे पापा और मम्मी रहती हैं। मुझे मस्ती करना बहुत अच्छा लगता था इसलिए मेरा पढ़ाई में उतना मन नहीं लगता था जितना लगना चाहिए। मेरे डैड ने इसीलिए मुझे होस्टल भेज दिया। वहाँ जा कर मुझे कुछ ऐसे दोस्त मिले जो कि मेरी क्लास के थे लेकिन अच्छे परिवारों से थे। मैं भी अच्छे घर से ताल्लुक रखता हूँ लेकिन उन सब में एक बात थी कि वे सब सेक्स के मामले में काफी एडवांस थे।
उनमें से एक था राहुल ! स्लिम बॉडी का गोरा लड़का था मैं भी उसी की तरह दीखता था इसलिए मेरी और उसकी दोस्ती जल्दी हो गई। वो मेरी कक्षा में और मेरे साथ ही कमरे में था। मुझे उसे अंडरवीयर में देख कर अच्छा लगता था।
एक दिन उसकी तबीयत कुछ ठीक नहीं थी इसलिए वो क्लास में नहीं गया और मुझे भी नहीं जाने दिया। मैं भी दोस्ती के नाते नहीं गया। हमारी क्लास ९ से ४ बजे तक चली थी। लगभग सभी चले गए, तब राहुल ने कहा- अनुराग ! मेरे को बुखार है जरा छू के देख !
कह कर मेरा हाथ पकड़ कर अपने सर पर रखा। थोड़ा गरम था उसका सर !
मुझे तो नहीं लग रहा है ! कहते हुए मैंने उसके सीने को छुआ तो मुझे लगा कि उसने शर्ट नहीं पहनी हुई है। मैंने हाथ को थोड़ा नीचे किया तो उसके निप्प्ल मेरे हाथ से छू गए। मुझे एक अजीब सा करंट सा लगा। मेरा हाथ धीरे धीर नीचे जाने लगा, मुझे पता भी नहीं चला कि मेरा हाथ कब उसके अंडरवीयर तक पहुँच गया।
तभी उसने मुझे पूछा- बुखार है या नहीं?
मैंने कहा- पता नहीं लग रहा है !
कहते हुए मेरा हाथ उसके अंडरवीयर के ऊपर से जाने लगा। इसी समय उसके लंड ने थोड़ी सी हरकत की और मुझे लगा कि कुछ है !
मैंने लंड को पकड़ कर कहा- यह क्या है?
वो बोला- कुछ नहीं !
मुझे भी नहीं मालूम था कि वह लंड है …..
मुझे लगा कि चॉकलेट है। मैंने कहा- चॉकलेट है ! और मुझसे छुपा रहे हो ! दोगे नहीं?
वो बोला- चॉकलेट नहीं है !
मैंने उसको पकड़ रखा था और मेरी पकड़ जोर से थी जिससे उसका लंड खड़ा हो गया। मैंने चादर को हटा तो देखा की उसका लंड पूरी तरह से खड़ा है। मैंने जल्दी से उसके अंडरवियर को नीचे खींचा तो देखा कि ७ इंच लंबा लंड छत की तरफ खड़ा है। मैंने उसे तुरन्त छोड़ दिया और छि छि करते हुए उससे दूर हट गया।
उसने चादर से फिर अपने आप को ढक लिया और सॉरी बोला ….
मै कमरे से बाहर चला गया, मेरे मन में सिर्फ उसके लंड का ही ख्याल आ रहा था। जिसके कारण मेरा भी लंड खड़ा हो रहा था और मेरे से रहा नहीं जा रहा था। समझ में नहीं आ रहा था कि क्या करूं !
और ३० मिनट के बाद मैं उसके पास आया तो वो सो रहा था। मैं भी उसके पास सो गया। मैं उसके अंडरवीयर में हाथ डाल कर उसके लंड को पकड़ कर महसूस करने लगा कि धीरे-धीरे उसका लंड खड़ा होने लगा और मेरा भी !
मुझसे रहा नहीं गया और मैंने उसका अंडरवीयर निकल दिया। उसका गोरा लंड अच्छा लग रहा था। फिर मैंने भी अपना अंडरवियर निकाल दिया और उसके लंड से खेलने लगा। 15 मिनट के बाद मुझे लगा कि राहुल जागा हुआ है। उसने मुझे अपनी बाहों में कस लिया और मेरे होठों पर चूमने लगा …… मेरा लंड पूरी तरह से खड़ा हो गया …….
राहुल ने मुझे ऊपर खींचा और मेरे लंड को चूमने लगा।
चूमते-चूमते मुझे पेट के बल लिटा दिया और अपने आप मेरे ऊपर लेट गया। फिर मुझे उसका लंड मेरी गांड की दरारों में जाता हुआ लगा जोकि मेरे गांड की छेद के पास आ गया। सिर्फ एक जोरदार झटका और मेरी चीख निकल गई, ऐसे लग रहा था कि जैसे कोई गरम लोहा मेरी गांड में जा रहा है। मै राहुल से मना कर रहा था कि निकाल ले, मुझे दर्द हो रहा है। लेकिन राहुल नहीं रुका और मेरी गांड को पेलता चला गया, मै रोता जा रहा था और राहुल पेलता जा रहा था।
चार-पाँच मिनट के बाद राहुल शान्त हुआ, मुझे लगा कि मेरी गांड में कुछ गरम चीज राहुल के लंड से गिर रही है। राहुल १० मिनट तक मेरे उपर लेटा रहा, फिर बोला- अनुराग ! सॉरी यार !
…….मै अभी रो रहा था …..
राहुल ने मुझे चुप करने के लिए बोला कि मेरी गांड ले ले !
पहले तो मैं मना करता रहा लेकिन बदले की भावना के कारण मैंने हाँ कर दी। राहुल नीचे लेटा, मैं ऊपर था। राहुल अपने हाथों से अपनी गांड फैला कर छेद दिखा रहा था। मैंने अपना लंड उसकी गांड के छेद पर रख कर एक जोरदार झटका दिया, राहुल चिल्लाने लगा। मेरा लंड राहुल के लंड से ज्यादा मोटा था। मैंने एक ही बार में अपना पूरा लंड राहुल की गांड में पेल दिया और जैसे राहुल झटके ले रहा था, उससे भी तेज मैं कर रहा था क्योंकि मुझे राहुल से बदला लेना था।
२० मिनट के बाद मेरा माल राहुल की गांड में गिर गया और मैं राहुल के ऊपर से ५ मिनट के बाद उठा तो देखा कि राहुल की गांड से खून निकल रहा है।
मैं डर गया, राहुल बेहोश हो गया था !
मैं पानी ले कर आया, राहुल पर डाला तो उसे होश आया। रात में राहुल की तबीयत काफी ख़राब हो गई थी …… यह मेरे ही कारण हुआ था .. ४ दिन के बाद राहुल ठीक हुआ। मैं उसके पास गया और बोला- सॉरी राहुल ! उस दिन ज्यादा हो गया था !
राहुल बोला- नहीं यार …… यह तो शुरुआत है ! धीरे- धीरे अच्छा लगने लगेगा …..
उसके बाद से मैं और राहुल रोज रात एक दूसरे की गांड मारते थे ……
This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: storyrytr@gmail.com. Starting price: $2,000