मैं कॉलगर्ल कैसे बन गई-5

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अब तक आपने पढ़ा कि मेरे जिस्म के खरीदार अशोक ने मुझे चोद दिया था और अब वो मुझे कुसुम की सच्चाई बता रहा था. अब आगे..

उसने जवाब दिया कि मैंने उससे कई बार कोई ख़ास लड़की लाने के लिए बोला और उसने उस काम के लिए मुझसे जितने पैसे माँगे मैंने दे दिए. मेरे पास वो कई बार चुदने के लिए आई है. मगर मैं अब उसको ज़्यादा घास नहीं डालता क्योंकि उसकी चुत पूरा भोसड़ा बन गई है. वो मेरे पास कई लड़कियां लाई है, जैसे कि आज तुमको ले आई.

मैंने पूछा- आप मेरे बारे में कैसे जानते थे?

अशोक- उसके फोन में तुम्हारी फोटो थी, जिसे मैंने देखा था. मैंने उससे कहा कि यह कौन है? वो बोली बॉस इसका ख्याल छोड़ दो. मैंने कहा कि तू जितना पैसा माँगेगी, मैं दूँगा. लेकिन इसको मेरे पास लेकर आ और मैं अब इसी को चोदना चाहता हूँ. उसी ने मुझे बताया था कि तुम अभी तक चुदी नहीं हो. मतलब एक फ्रेश माल हो. उसके मुँह से यह सुन कर मेरे लंड पैन्ट से बाहर निकलने लगा. मैंने बोला कि जो चाहेगी, मैं दूँगा. तो बोली कि ठीक है कोशिश करूँगी मगर इसके लिए पैसे बहुत लगेंगे. मैं बोला 50 से 70 हजार तक जो माँगेगी, मैं दूँगा. तो बोली ओके डील पक्की. मैं 70 हजार में उसे मना लूँगी. वो मुझसे 20 अड्वान्स में कोई एक महीना पहले ले गई थी और बाकी के आज तुम्हारे सामने लेकर गई है. वो बीच बीच में मुझसे चुदते समय कहा करती थी कि बॉस आपने जो एड्वान्स दिया है, उसके बदले मेरी चुत चोद लो. वो पट नहीं रही है. उसके बाद तो उसने यह बोल कर मुझसे फोन पर बात करनी ही बंद कर दी कि वो कुछ दिनों के लिए मुंबई जा रही है. दो दिन पहले उसका फोन आया कि वो वापिस आ गई है और मुझे मेरी माँगी चुत को ले कर आएगी. उसने यह भी कहा था कि उसको जरा प्यार से हैंडल करना, वो अभी तक किसी से चुदवाना तो दूर, किसी ने उसे टच भी नहीं किया. हां मगर बाक़ी के 50000 उसे उसी वक़्त देने होंगे. मैंने उससे कहा कि कोई प्राब्लम नहीं. मुझे नहीं पता था कि वो तुम्हारी साथ काम करती है.

मैंने पूछा- उसने आपको क्या बताया था? अशोक- मुझे तो उसने बताया था कि तुम उसकी कज़िन हो मगर इस मामले के लिए बहुत जिद्दी हो. उसे चुदवाने के लिए बहुत कोशिश करनी पड़ेगी. खैर छोड़ो इन बातों को, मैं भी कहाँ फंस गया.

यह बोल कर वो मेरे मम्मों को फिर से जोर जोर से दबाने लगा. मैं उसको बोल रही थी- दबाओ मगर जरा प्यार से मजा लो ना.

वो बोला- हम लंड वालों का प्यार ही ऐसे होता है कि मम्मों को तब तक दबाओ जब तक वो लाल या नीले ना हो जाएं. तुम्हारी चुचियों को तो मैं दांतों से रगड़ कर काटूँगा जानेमन. आज तुम मुझसे चुदाई के पूरे पाठ सीख लो.

कुछ देर बाद यह सब करने के बाद मुझे छोड़ कर अपना फोन अटेंड करने लगा, जो पता नहीं कहां से आया था. फिर वो मुझसे बोला- तुम मेरे एक फ्रेंड से भी चुदवा लोगी आज. अगर राज़ी हो तो मैं तुमको 30000 अलग से भी दूँगा.

मैं सोच में पड़ गई कि हां बोलूं या ना. एक तरफ इतनी रकम, जिसको मैंने आज तक नहीं देखी थी और दूसरी तरफ मेरी चुत का बुरा हाल होना लाजिमी था. पता नहीं वो कैसे चुदाई करेगा. आख़िर मैंने उसको ना बोला क्योंकि मुझे नहीं पता था कि वो मेरे साथ कैसा सलूक करेगा.

फिर वो बोला- जानेमन, वो लंड मेरे जितना लंबा मोटा नहीं है और वो कुछ ज़्यादा जानता भी नहीं है. हां बोलो और पैसे ले जाओ. मैं कुसुम से इस बारे में नहीं कहूँगा.

आख़िर मुझे सोचता देख कर वो बोला कुछ दिनों बाद तुम्हारी चुत की कीमत एक बार चुदने के लिए सिर्फ 2000 की रह जाएगी और पूरी रात को चुदवाने की कीमत बस 5000 से ज़्यादा नहीं मिलगी. मैं तो तुम्हें इसलिए इतने पैसे दे रहा हूँ क्योंकि तुम्हारी चुत अभी तक सिर्फ़ मेरे से ही चुदी है.. वो भी सिर्फ दो बार. अभी यह पूरी टाइट है और मैं अपने दोस्त को टाइट चुत का मज़ा दिलवाना चाहता हूँ.

मैंने कुछ सोच कर हां कर दी. मुझे पता लग चुका था कि कुसुम मुझे कोई पैसे देने वाली नहीं है, क्योंकि उससे मैंने 40000 लिए हुए हैं, जो वापिस करने थे. वो सब कुछ इधर उधर का बोल कर मुझे एक या दो हज़ार ही देगी. बाकी के सब अपने पास रखेगी. उससे निपटना आसान भी नहीं था क्योंकि मैं उससे बहस नहीं कर सकती थी, खास कर जब उसके खोजे हुए लंड से चुद कर आई हूँ. वो मुझे पूरी तरह से बदनाम कर सकती है और उसका कुछ नहीं बिगड़ेगा, क्योंकि वो तो घुटी हुई दलाल है चुतों की. फिर उसने मुझसे सारा का सारा ही झूठ बोला था और मुझे फंसा कर और पैसे वापस मांगने की धमकी दे कर राज़ी किया था. मेरे पास और कोई रास्ता ही नहीं बचा था, सिवाए खुद को किसी लंड के हवाले कर दूं और वो जो चाहे जैसे मुझे नंगी करके चुदाई करे.

उसने कहा कि उसके फ्रेंड को यहाँ पर आने में 40-45 मिनट लगेंगे, तब तक मैं अपना लंड तुम्हारी चुत में एक बार फिर से पेल दूं.

ये कह कर उसने मुझे कुतिया की तरह बना दिया, मतलब दोनों हाथ और घुटनों के बल खड़ा कर दिया. अब मैं उसे नहीं देख सकती थी और वो मुझे अच्छी तरह से देख सकता था. जैसे ही मैं कुतिया बनी, उसने अपना मूसल मेरी चुत में घुसेड़ कर और मेरे ऊपर चढ़ते हुए मम्मों को निचोड़ना शुरू कर दिया.

लगभग 20 मिनट के बाद उसने अपने लंड को मेरी चुत से निकाला और मुझे सीधा किया और बोला- मुँह खोलो. मैंने जैसे ही मुँह खोला, उसके लौड़े ने पिचकारी छोड़ दी, जो सीधी मेरे मुँह में गई और मैं उसे इस डर से गटक गई कि अगर कुछ बोली तो अगली बार मेरी चुत को हरा भरा कर देगा.

अब उसने मुझसे बोला कि तुम साफ़ सफाई कर लो और अपने पूरे कपड़े डाल लो, जो मैंने तुमको दिए थे. मैंने कहा- ठीक है. वो बोला कि मेरा दोस्त अनाड़ी है. उसके सामने मैं तुम्हें नचवाऊंगा और तुम अपनी चुत खोल खोल कर उसे दिखलाना, मुझे ना दिखाना क्योंकि मैं तेरा सब देख चुका हूँ. मैंने कहा- ठीक है. अशोक- ओके अब जाओ साफ़ कर लो.

मैं अपनी चुत साफ़ करके कपड़े पहन कर रंडियों के बाज़ार में कस्टमर को पकड़ने के लिए जैसे बैठ गई.

कोई 10 मिनट बाद उसका फोन बज़ा. उसने उसको बोल दिया था कि बेल ना बजाए वरना सर्वेंट आ जाएगा. फोन की घंटी बजते ही वो नंगा का नंगा ही डोर तक गया और उसको साथ ले कर आया. वो लड़का कोई 25-26 साल का था मगर काफ़ी आकर्षक था.

अपने साथ उसको बिठा कर बोला- यार, अपने पूरे कपड़े उतार दो, यहाँ पर कपड़ों का कोई काम नहीं है. यह मेमसाब भी अभी पूरी नंगी होकर तुम्हें अपनी जवानी का जलवा दिखाएगी.

जब उसने अपनी कपड़े उतार दिए. तब मुझसे बोला कि हां तो मैडम जी अपनी चुत और मम्मों का जरा जलवा इसको भी दिखाओ ना. इसने भी अभी तक किसी घरेलू लड़की की चुत नहीं देखी.. जरा अच्छी तरह से दिखाओ. ये तो अब तक चुत में बस लंड पेल कर अपना पानी ही निकालता रहा है.

मैंने पहले बिना कपड़े उतारे ही डांस करना शुरू कर दिया. उसके आगे जाकर झुक जाती थी, मेरी स्कर्ट इतनी ऊपर थी कि पूरी गांड पूरी नंगी नजर आती थी. क्योंकि एक बड़ा सा स्प्रिंग जो मेरी टांगों के नीचे से पीछे जाता था, उसकी दो तारें इतनी दूर दूर थीं कि गांड पूरी नंगी नजर आती.

मैं झुक कर अपने टॉप से उसे मम्मे भी दिखाती थी. कुछ देर बाद मैंने टॉप उतार दिया और स्कर्ट भी अब एक पान के पत्ते जितना कवर जैसा था, जो स्प्रिंग के नीचे लगा था और उसने बस चुत को ही कवर किया हुआ था.

वो लौंडा बोला कि यार यह तो मैंने कभी नहीं देखा. यह तो चुत का क्राउन है, जो चुत को छिपा कर रखे हुए है. अशोक बोला- ज़रा करीब से देखो. उसका दोस्त मुझसे बोला- जरा पास आओ.

मैं गई.. और उसने उसे उतारने की कोशिश की, मगर नहीं उतार पाया. मैंने कहा कि अगर ऐसे ही उतारी तो इसका क्या फ़ायदा. यह स्प्रिंग पीछे और आगे से जोर लगा कर चौड़ा करो तब अपने आप ये नीचे हो जाएगा. ये चुत का ‘बुर्क़ा’ है.

उसने जैसे ही दोनों तरफ से खींचा वो झट से नीचे गिर गई और मेरी चुत पूरी नंगी उसके सामने थी.

मेरे को अशोक ने कहा कि यह चोदू राम आज मेरे सामने तुम्हारी चुत में अपना लंड डालेगा. जरा हिला हिला कर चुत देना इसको.. ना कि ऐसे ही नीचे पड़ी रहना. इसको भी पता लगना चाहिए कि चुत खुद भी लंड से मज़ा लेना चाहती है. इसे पूरा खुश कर दो आज.. ताकि यह भी तुम्हारा पक्का कस्टमर बन जाए. तुम्हारी सीधी चुदाई बिना किसी दलाली के होगी तो तुमको पूरी रकम मिलेगी और किसी को पता भी नहीं लगेगा.

उसका मतलब कुसुम से था.

मैं उसको ओके बोल कर चालू हो गई. अपनी चुत खोल खोल कर उसको दिखाती जाती थी और डांस के नाम पर बस इधर उधर हिल रही थी.

मेरी नन्हीं सी चुत को देख कर उसका लंड भी लौड़ा बन गया. वो 6 इंच के लगभग का रहा होगा और 2.5 इंच मोटा था. मतलब की अशोक से छोटा और पतला था. मुझे यह देख कर तसल्ली हुई कि अशोक का लंबा और मोटा लेने से तो इसका बेहतर है.

अशोक ने मुझे खींच कर उसकी गोदी में बिठा दिया और बोला- सुन ओ चोदूराम, आज इसकी पूरी चुत बजानी है कोई रहम नहीं करना इस पर. अपुन ने पूरे पैसे दिए हैं.. उनको वसूल करना है. “ओके बॉस…” अशोक- तुमको यह चार काम करके इससे पैसे वसूल करने है. 1. मम्मों को पकड़ कर इतना दबाओ की लड़की के मम्मों पर दबाने वाले का हाथ छाप जाए. 2. उसके निप्पलों को काट काट कर चूसो. 3. उसके बूब्स के बीच में लंड रख कर तब तक चोदो, जब तक लंड का पानी सीधा उसके मुँह में ना जाए. 4. उसकी चुत तो पूरा रगड़ कर रख दो.

अब उसके दोस्त की बारी थी. मैं समझी थी कि वो धीरे धीरे चुदाई करेगा, मगर उसने अपनी गोद में लेते ही मेरी चुचियों का हाल बुरा कर दिया. वो दांतों से काटने में लग गया और मम्मों को दोनों हाथों से ऐसे पकड़ लिए कि जैसे कोई कपड़े निचोड़ रहा हो. फिर उसने मेरी चुत में उंगली कर दी.

कुछ देर बाद वो बोला- ओके राउंड नम्बर वन.

मुझे बेड पर पटक कर मेरी चुत में अपना लंड एक ही झटके में घुसेड़ कर अपना ध्यान मेरे मम्मों और उनकी घुंडियों पर रख कर उसने वो बुरा हाल किया कि मैं लिख नहीं सकती. उसने अपने लंड पर रबर लगा रखा था इसलिए उसने अपना लंड बाहर नहीं निकाला और जब उसका पानी निकल गया तो वो फिर भी मेरे ऊपर चढ़ा रह कर मेरे मम्मों की माँ चोदता रहा.

मेरी पूरी नींद खत्म हो चुकी थी, मैं भगवान से प्रार्थना कर रही थे कि जल्दी से 7 बजें और मेरा छुटकारा हो. मगर कहते हैं ना कि हर एक प्रार्थना मंजूर नहीं होती. अभी 4 ही बजे थे और दोनों मुझे पूरी तरह से पेल रहे थे. अशोक अपने लंड से मेरी चुत का हलवा बना रहा था और उसका फ्रेंड मेरी चूचियां के बीच में अपना लंड रख बूब फकिंग कर रहा था.

अब मेरी हालत हिलने लायक नहीं थी. बस मैं बेहोश नहीं थी और अपनी दुर्दशा देख रही थी. लेकिन पैसे की लालच मुझे ये सब करने को कह रही थी.

मेरी कॉलगर्ल बनने की गाथा आपको कैसी लग रही है? आप मुझे मेल करें! [email protected] कॉलगर्ल की कहानी जारी है.

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