बड़े अच्छे लगते हैं
सोनी टेलीविजन पर सोमवार से गुरुवार तक रात 10.30 ब…
पड़ोस वाले चाचा चाची के गुलछर्रे
प्रेषक : प्रणय हेलो दोस्तो, यह मेरी पहली कहानी है। म…
इकलौते रह गए
शहजादा सलीम- हमारी अम्मी, अब्बू हमसे इतना प्यार करती…
जो पहले कर ना सकी थी
लगातार मेरी नाक बह रही है, सारा बदन टूट रहा है, अ…
बिन मेहनत घर में लौड़ा मिल गया
प्रणाम मेरे लवर्स को, मेरे आशिकों को, मेरे पाठकों क…
जन्मदिन का उपहार और सज़ा
मैं अमित शर्मा एक बार फिर लेकर आया हूँ अपनी सच्ची द…
चूत से चुकाया कर्ज़-2
वो शाम 7 बजे वाली ट्रेन से ही निकलने वाले थे। मैं …
कुछ बन कर दिखाओ
बेटी- पापा, मैं माँ बनने वाली हूँ। पापा- बदतमीज, …
कारनामा पूरा ना करने की सजा
सवेरे फिर मित्र से बात हुई… वो बोले- रात में जो नह…
मामीजान के साथ सुहागरात
एक दिन मेरे मामू और मामीजान हमारे घर मिलने आये क्य…